आरबीआई ने तीन बैंकों पर लगाया जुर्माना, एक कोऑपरेटिव बैंक का लाइसेंस किया रद्द, बैंकिंग सेक्टर में हड़कंप

भारतीय रिजर्व बैंक ने आईडीएफसी फर्स्ट बैंक, पंजाब नेशनल बैंक और कोटक महिंद्रा बैंक पर केवाईसी नियमों और लोन संबंधी निर्देशों के उल्लंघन के चलते भारी जुर्माना लगाया है, साथ ही एक कोऑपरेटिव बैंक का लाइसेंस भी रद्द कर दिया है।

Fri, 18 Apr 2025 12:21:34 - By : SANDEEP KR SRIVASTAVA

नई दिल्ली: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने बैंकिंग सेक्टर में एक के बाद एक कड़े कदम उठाते हुए बड़ा झटका दिया है। तीन नामी बैंकों पर भारी भरकम जुर्माना लगाया गया है, वहीं एक कोऑपरेटिव बैंक का लाइसेंस भी रद्द कर दिया गया है। रिजर्व बैंक की इस सख्ती से पूरे बैंकिंग जगत में खलबली मच गई है।

जानिए किस पर गिरी गाज:

1. IDFC फर्स्ट बैंक पर ₹38.6 लाख का जुर्माना ठोका गया है। आरोप है कि बैंक ने 'अपने ग्राहक को जानिए' (KYC) के नियमों का सही ढंग से पालन नहीं किया।

2. पंजाब नेशनल बैंक (PNB) को ₹29.6 लाख का आर्थिक दंड भुगतना पड़ा है। PNB पर ग्राहकों को सेवाएं प्रदान करने संबंधी रिजर्व बैंक के निर्देशों की अनदेखी करने का आरोप है।

3. कोटक महिंद्रा बैंक को सबसे भारी ₹61.4 लाख की चपत लगी है। बैंक पर ऋण (लोन) से जुड़े नियामकीय दिशानिर्देशों के उल्लंघन का दोष पाया गया है।


को-ऑपरेटिव बैंक पर गिरी सबसे बड़ी गाज:

इतना ही नहीं, अहमदाबाद के कलर मर्चेंट्स को-ऑपरेटिव बैंक की मुश्किलें इस बार भारी पड़ गईं। RBI ने बैंक का लाइसेंस रद्द करते हुए उसकी सभी बैंकिंग गतिविधियों पर तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी है। इसका मतलब है कि अब यह बैंक ग्राहकों से कोई भी लेन-देन नहीं कर सकेगा। बैंक की वित्तीय स्थिति लंबे समय से चिंता का विषय बनी हुई थी और ग्राहकों के हितों की सुरक्षा को देखते हुए यह कड़ा निर्णय लिया गया है।

RBI ने क्या कहा?

रिजर्व बैंक का कहना है कि ये कार्रवाइयाँ नियामकीय अनुपालन सुनिश्चित करने और बैंकिंग प्रणाली की स्थिरता बनाए रखने के उद्देश्य से की गई हैं। RBI ने साफ संदेश दिया है कि किसी भी तरह की लापरवाही या नियमों का उल्लंघन बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। ग्राहकों के हित सर्वोपरि हैं और बैंकों को हर हाल में पारदर्शिता और जिम्मेदारी के साथ काम करना होगा।

बैंकिंग सेक्टर में सख्ती के संकेत:

विशेषज्ञों का मानना है कि RBI का यह कदम आने वाले समय में अन्य बैंकों के लिए भी चेतावनी का काम करेगा। बैंकों को अब और सतर्क रहना होगा और हर स्तर पर नियमों का कठोरता से पालन सुनिश्चित करना पड़ेगा। वरना, ऐसी कार्रवाई से उनकी साख को गहरा धक्का लग सकता है।

ग्राहकों के लिए राहत का संकेत:

जहां एक ओर बैंकों पर जुर्माने की खबरें बैंकिंग सेक्टर के लिए चिंता का सबब हैं, वहीं ग्राहकों के लिए यह सकारात्मक संकेत है। इसका मतलब है कि भारतीय रिजर्व बैंक ग्राहकों के हितों की रक्षा के लिए पूरी तरह सजग और गंभीर है।

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