गाजीपुर: गंगा में चंदौली जिले की दो छात्राओं ने लगाई छलांग, एक की मौत, दूसरी अस्पताल में भर्ती

गाजीपुर जिले में रामकरण सेतु से गंगा में दो चचेरी बहनों ने छलांग लगा दी, जिसमें एक छात्रा की मृत्यु हो गई, जबकि दूसरी छात्रा को बचाकर अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

Fri, 02 May 2025 16:26:58 - By : SANDEEP KR SRIVASTAVA

गाजीपुर: जिले के सैदपुर नगर क्षेत्र में शुक्रवार को एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई, जब दो छात्राओं ने रामकरण सेतु पर बने पक्के पुल से गंगा नदी में छलांग लगा दी। यह घटना दिन के समय की है और इसमें एक छात्रा की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि दूसरी को स्थानीय लोगों की तत्परता से बचा लिया गया।

जानकारी के अनुसार, दोनों छात्राएं चचेरी बहनें थीं और बलुआ थाना क्षेत्र के मोलनापुर गांव की निवासी थीं, जो चंदौली जनपद में पड़ता है। मृतक छात्रा की पहचान सोनी यादव (18) के रूप में हुई है, जो खंडवारी महिला महाविद्यालय, चहनियां चंदौली में बीए प्रथम वर्ष की छात्रा थी। वह शुक्रवार सुबह घर से प्रैक्टिकल देने के लिए निकली थी। उसके साथ उसकी चचेरी बहन चंचला यादव भी थी, जो उसी कक्षा की छात्रा बताई जा रही है।

स्थानीय लोगों के अनुसार, दोनों छात्राएं सुबह अपने घर से पढ़ाई के बहाने निकली थीं। जब वे सैदपुर क्षेत्र में रामकरण सेतु पर पहुंचीं, तो अचानक पुल से गंगा में छलांग लगा दी। घटना के तुरंत बाद राहगीरों और वहां मौजूद कुछ लोगों ने शोर मचाया और प्रशासन को सूचना दी। मौके पर पहुंची पुलिस और स्थानीय गोताखोरों की मदद से दोनों छात्राओं को बाहर निकाला गया, लेकिन तब तक सोनी यादव की जान जा चुकी थी। चंचला यादव को प्राथमिक उपचार के लिए सैदपुर के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया, जहां उसका इलाज चल रहा है और उसकी हालत अब स्थिर बताई जा रही है।

घटना के बाद क्षेत्र में सनसनी फैल गई। मृतका का शव पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है और पुलिस ने पूरे मामले की जांच शुरू कर दी है। हालांकि, इस आत्मघाती कदम के पीछे की वजह अभी तक स्पष्ट नहीं हो सकी है। परिजनों और ग्रामीणों के अनुसार, दोनों छात्राएं सामान्य स्वभाव की थीं और कभी किसी मानसिक तनाव का संकेत नहीं दिया था।

रामकरण सेतु से छात्राओं द्वारा गंगा में कूदने की यह घटना कई सवाल छोड़ गई है। पुल से गंगा में छलांग लगाना अचानक लिया गया कदम था या इसके पीछे कोई गंभीर कारण है, इस पर पुलिस गहराई से जांच कर रही है। चूंकि यह स्थान मोलनापुर गांव से मात्र पांच किलोमीटर की दूरी पर है, इसलिए सवाल यह भी उठ रहे हैं कि छात्राएं इस पुल तक क्यों आईं और सीधे कॉलेज क्यों नहीं गईं।

इस दुखद घटना ने न केवल पीड़ित परिवारों को गहरे सदमे में डाल दिया है, बल्कि पूरे इलाके में शोक की लहर दौड़ गई है। स्थानीय प्रशासन ने जनता से अपील की है कि किसी भी प्रकार की मानसिक परेशानी को नजरअंदाज न करें और जरूरत पड़ने पर सहायता प्राप्त करें।

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